देहरादून, 21 सितम्बर। इंडियन आइडल विजेता पवनदीप राजन ने एक निजी कॉलेज के कार्यक्रम में अपने सुरो का जलवा बिखेरा. पवनदीप ने कार्यक्रम में कई गानों पर शानदार प्रस्तुति दी और युवाओं को झूमने पर मजबूर कर दिया. दर्शक पवनदीप के ‘आजकल बदले-बदले हैं मेरे तेवर क्यूं’ ‘ले जाए मुझे कहां ये हवाएं, ना तुझको खबर ना मुझको पता’ और अन्य गानों पर देर रात तक थिरकते रहे.

पवनदीप बोले- हमेशा रहती हैं चुनौतियां
वहीं, ईटीवी भारत संवाददाता से बातचीत करते हुए सिंगर पवनदीप राजन में कहा कि चुनौती तो हमेशा ही रहती हैं, लेकिन वो घर में परफॉर्म करने आए हैं. साथ ही कहा कि उनकी कोशिश रहती है कि बच्चे उनका गाना सुनकर खुश हो. सिंगर पवन ने कहा कि अभी ऐसी कामयाबी तो नहीं है, लेकिन कोशिश कर रहे हैं. साथ ही लगातार प्रैक्टिस कर रहे हैं. युवाओं को संदेश देते हुए कहा कि सिंगिंग के क्षेत्र में युवाओं को रियाज करते रहना चाहिए. साथ ही किसी भी क्षेत्र में हो प्रैक्टिस करना बहुत जरूरी है. मंजिल की सोचने के बजाय युवाओं को प्रैक्टिस पर ध्यान देना चाहिए. उत्तराखंड में अच्छे म्यूजिक स्कूल होने चाहिए, जहां पर अच्छा म्यूजिक सिखाया जाए. हालांकि, अभी वो खुद भी सीख रहे हैं.

म्यूजिक प्रैक्टिस को बताया जरूरी
जो युवा म्यूजिक इंडस्ट्री में अपना भविष्य तलाश रहे हैं, उनको म्यूजिक प्रैक्टिस के लिए पूरा समय देना पड़ेगा. हालांकि, खेल कूद भी जरूरी है, क्योंकि उससे शरीर फिट रहेगा. साथ ही कहा कि उनका मानना है कि पढ़ाई करके कुछ बनना है तो बहुत पढ़ाई करनी पड़ेगी, म्यूजिक के क्षेत्र में मुकाम हासिल करनी है तो काफी प्रैक्टिस करनी होगी. यानी कोई भी क्षेत्र हो उसमें मुकाम हासिल करने के लिए पूरे लगन से मेहनत होती है.उत्तराखंड प्रीमियर लीग में उत्तराखंड के कलाकारों को ना बुलाए जाने के सवाल पर, सिंगर पवनदीप राजन ने कहा कि उत्तराखंड प्रीमियर लीग में सभी को परफॉर्म करने का मौका मिलना चाहिए था.

यूपीएल में स्थानीय कलाकारों को नहीं दिया मौका
बता दें कि उत्तराखंड में 15 सितंबर से शुरू हुए उत्तराखंड प्रीमियर लीग के शुभारंभ के दौरान मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी समेत पूर्व मुख्यमंत्री और कैबिनेट मंत्री मौजूद रहे थे. साथ ही इस शुभारंभ के दौरान बॉलीवुड एक्टर सोनू सूद, भोजपुरी सिंगर मनोज तिवारी, समेत हर दिन अलग-अलग कलाकार, प्रीमियर लीग में आते रहे हैं. लेकिन इस प्रीमियर लीग के दौरान उत्तराखंड के कलाकारों को परफॉर्म करने के लिए कोई निमंत्रण नहीं दिया गया. जिसको लेकर पहले भी कई कलाकार इस पर सवाल उठा चुके हैं.

पवनदीप राजन उत्तराखंड के चंपावत के रहने वाले हैं. उनके पापा सुरेश राजन कुमाऊं के सिंगर हैं. पवनदीप राजन की नानी भी फोक सिंगर थीं. पवनदीप को म्यूजिक विरासत में मिला है. उन्हें उनके पिता सुरेश राजन और ताऊ सतीश राजन ने बचपन से ही म्यूजिक सिखाया. पवनदीप राजन गाने के साथ-साथ लगभग कोई भी म्यूजिकल इंस्ट्रूमेंट बजा लेते हैं. वह कई सिंगिंग रियलिटी शो जीत चुके हैं. वे 2015 में टीवी शो द वॉइस ऑफ इंडिया जीत चुके हैं. वे इंडियन आइडल 12 का खिताब भी अपने नाम कर चुके हैं.

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